आज काशीपुर स्थित गुरुद्वारा श्री ननकाना साहिब में शीश नवाकर देश और प्रदेशवासियों के सुख, समृद्धि और खुशहाली की कामना करते हुए अरदास की।
सिख परंपरा की सेवा, समर्पण, सहिष्णुता और ‘सरबत्त दा भला’ की भावना हमें समाज और राष्ट्र के लिए निःस्वार्थ भाव से कार्य करने की प्रेरणा देती है। ऐसे गुरुधामों में आकर आत्मा को जो शांति और ऊर्जा प्राप्त होती है, वह मानव कल्याण के पथ पर चलने का संबल प्रदान करती है।